सन्दर्भ:
:आजादी के 75 वर्ष में देश की साक्षरता 75 प्रतिशत हो चूका है,जबकि 1947 में मात्र 12% प्रतिशत साक्षरता थी।
साक्षरता 75 प्रतिशत
:जब भारत को ब्रिटिश शासन से स्वतंत्रता मिली, तो देश में ऐसे लोगों की भारी आबादी रह गई जो पढ़ या लिख नहीं सकते थे।
:आजादी के समय आबादी 37.6 करोड़ और साक्षरता दर मात्र 12% प्रतिशत थी।
:1950 में 10 में से लगभग 2 भारतीय साक्षर थे,1951 में आंकड़ा 18.3% हो गयी।
:अब 2022 में आंकड़े लगभग उलट गए हैं,और देश साक्षरता के मामले में काफी ऊपर आ चूका है।
:2018 तक के आंकड़ों के अनुसार,भारत की पुरुष साक्षरता दर 82.4% और महिला साक्षरता दर 65.8% थी।
:दूसरी ओर, भारत में दुनिया में सबसे अधिक निरक्षर लोगों की संख्या है,जिसमें 25% से अधिक आबादी अभी भी अशिक्षित है।
: पिछले कुछ वर्षों में पुरुष और महिला साक्षरता दोनों में लगातार वृद्धि हुई है,फिर भी व्यापक लिंग अंतर आज भी बना हुआ है।
:हालांकि, लड़कियों के प्राथमिक विद्यालय में नामांकन में हालिया वृद्धि से आने वाले वर्षों में पुरुष और महिला साक्षरता के बीच की खाई को पाटने की संभावना है।
:नई शिक्षा नीति के अगले दशक में 100% साक्षरता हासिल करने के लक्ष्य के साथ, देश को अभी भी अपनी आबादी के वास्तव में साक्षर होने से पहले एक लंबा रास्ता तय करना है।